गाॅस की प्रमेय
Gauss's Theorm
कार्ल फ्रिडरिच गाॅस ने किसी बंद पृष्ठ से होकर जाने वाले वैद्युत फ्लक्स तथा पृष्ठ द्वारा परिबद्ध कुल वैद्युत आवेश के बीच एक संबंध स्थापित किया, जिसे गाॅस की प्रमेय कहते हैं।
इस प्रमेय के अनुसार – "किसी बंद पृष्ठ के अंदर रखे आवेश के कारण पृष्ठ से गुजरने वाला वैद्युत फ्लक्स उसके कुल आवेश का 1/ε0 गुना होता है।"
KARL FRIEDRICK GAUSS |
उपपत्ति (Derivation) – माना किसी r त्रिज्या वाले गोले के केंद्र पर एक बिंदु आवेश +q स्थित है तथा गोले के पृष्ठ पर एक सूक्ष्मतम क्षेत्रफल (dA) स्थित है जिसकी दिशा वैद्युत क्षेत्र की दिशा में है। तब-
θ=0°
सूक्ष्मतम क्षेत्रफल dA गुजरने वाला वैद्युत फ्लक्स-
dΦ = E dA COSθ (चूँकि θ=0°)
dΦ = E dA COS0°
dΦ =E dA ×1 (चूँकि COS0° = 1)
dΦ = E dA –(1)
सम्पूर्ण गौसियन पृष्ठ से गुजरने वाला वैद्युत फ्लक्स-
यही गाॅस की प्रमेय है।गाॅस की प्रमेय से संबंधित महत्वपूर्ण तथ्य :-
- किसी बंद पृष्ठ से गुजरने वाला वैद्युत फ्लक्स उसके आकार एवं आकृति पर निर्भर नहीं करता है।
- गॉस का नियम प्रत्येक प्रकार की बंद पृष्ठ की आकृति के लिए सत्य है।
- गॉस की प्रमेय के अनुप्रयोगों में प्रयोग किए जाने वाले पृष्ठों को गौसियन पृष्ठ कहते हैं।
- गॉस की प्रमेय प्रत्येक स्थिति के लिए सत्य है परंतु हर स्थिति में इसका प्रयोग नहीं कर सकते।
गाॅस की प्रमेय के प्रयोग के लिए आवश्यक शर्तें:-
- बंद पृष्ठ के अंदर रखा आवेश पृष्ठ के सममित होना चाहिए।
- पृष्ठ के प्रत्येक बिंदु पर वैद्युत क्षेत्र का मान बराबर होना चाहिए।
- पृष्ठ के प्रत्येक बिंदु पर वैद्युत क्षेत्र तथा क्षेत्रफल के बीच कोण बराबर होना चाहिए।
गौस की प्रमेय के अनुप्रयोग:-
- अनंत लंबाई के एकसमान आवेशित सीधे तार के निकट वैद्युत क्षेत्र की तीव्रता ( Intensity of electric field near a uniformly charged Straight wire of infinite length )
- अनंत विस्तार की एक समान आवेशित समतल चादर के निकट विद्युत क्षेत्र की तीव्रता ( Intensity of electric field near a uniformly charged plane sheet of infinite extension )
- एक समान आवेशित पतले गोलीय कोश के कारण विद्युत क्षेत्र की तीव्रता ( Intensity of electric field due to a uniformly charged thin spherical shell )